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पुलवामा में आतंकी हमले में जौनपुर के रहने वाले जवान जिलाजीत शहीद हो गए हैं.
जौनपुर (Jaunpur) में शहीद जवान जिलाजीत यादव अपने घर के इकलौते पुत्र थे. उनके पिता की दो साल पहले ही मृत्यु हुई थी. सेना के इस ऑपरेशन में एक आतंकी भी मार गिराया गया है.
26 साल की उम्र में शहादत
जलालपुर थाना के बहादुरपुर इजरी गांव के निवासी 26 वर्षीय जिलाजीत यादव के शहीद होने की खबर मिलते ही परिवार के लोगो पर मानों पहाड़ सा टूट गया. बताया जा रहा है कि शहीद का पर्थिव शरीर गुरूवार को आएगा.
इंटर पास करने के बाद सेना में भर्ती हुएजिलाजीत यादव गांव के पास सिरकोनी मे इंटरमीडियट की पढ़ाई करने के बाद सेना मे भर्ती हुए थे. वह आरआर-53 बटालियन में वह पुलवामा में पोस्टेड थे. जिलाजीत 2014 मे सेना मे भर्ती हुए थे. वह सिपाही पद पर तैनात थे.
मुठभेड़ में लगी गोली
पुलवामा मे मंगलवार की रात आतंकियों से मुठभेड़ में उन्हें गोली लग गई, जिसके बाद वह शहीद हो गए. जानकारी यह भी मिली है कि इस दौरान सेना ने ऑपरेशन में एक आतंकी भी मारा गिराया है.

जौनपुर में शहीद के घर में सभी का रो-रोकर बुरा हाल है.
पिता का दो साल पहले निधन
जिलाजीत के पिता कांता प्रसाद यादव का दो साल पहले ही निधन हो चुका है. वह घर के इकलौते बेटे थे. घर पर पत्नी पूनम अपने 7 माह के बच्चे के साथ मां उर्मिला हैं. वह जिलाजीत की शहादत की खबर सुनकर रह-रहकर बेहोश हो जा रही हैं. घर में अब जिलाजीत यादव के चाचा राम इकबाल यादव, जवाहर यादव ही परिवार मे बचे हैं. वह ही उनकी मां और पत्नी की देखभाल करते हैं.
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