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अखिलेश ने योगी सरकार पर किया वार (file photo)
इससे पहले अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) ने लखीमपुर खीरी में एक बेबस किशोरी से दुष्कर्म के बाद निर्मम हत्या इंसानियत को झकझोर देने वाली घटना बताया था.
इससे पहले अखिलेश यादव ने लखीमपुर खीरी में एक बेबस किशोरी से दुष्कर्म के बाद निर्मम हत्या इंसानियत को झकझोर देने वाली घटना बताया था. सपा सुप्रीमो ने कहा कि भाजपाकाल में उप्र की बच्चियों व नारियों का उत्पीड़न चरम पर है. बलात्कार, अपहरण, अपराध व हत्याओं के मामले में भाजपा सरकार प्रश्रयकारी क्यों बन रही है?’
उप्र में शिक्षा-व्यवस्था बदहाल है. जो संरचनात्मक विकास सपा काल में हुआ था उसका संवर्द्धन तो दूर संरक्षण तक इस भाजपा सरकार में नहीं हुआ है. विद्यार्थियों के सामाजिक-आर्थिक स्तर में बहुत अंतर है, जिससे ऑनलाइन शिक्षा सबके लिए संभव नहीं है.ये सरकार शिक्षा को न जाने कब महत्व देगी. pic.twitter.com/oGdQdVcW8u
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) August 21, 2020
बता दें सत्र में 17 विधेयकों को मंजूर किए जाने की तैयारी है. सरकार ने कोरोना काल में जो अध्यादेश लागू किए हैं. जैसे विधायक निधि स्थगित करने, मंत्री और विधायकों के वेतन में कटौती, कोरोना संक्रमण का इलाज करने वालों पर हमले की घटनाओं को रोकने जैसे कई निर्णयों से जुड़े विधेयक शामिल हैं. इसमें सबसे अहम उत्तर प्रदेश लोक तथा निजी संपत्ति क्षति वसूली अध्यादेश और उत्तर प्रदेश गोवध निवारण संशोधन अध्यादेश भी हैं. अध्यादेशों को विधानसभा की मंजूरी मिलना आवश्यक
दरअसल, संवैधानिक बाध्यता के तहत अध्यादेशों को विधानमंडल की मंजूरी मिलना आवश्यक है. विधेयक पास होने के बाद इन पर राज्यपाल की मंजूरी ली जाएगी. इसके बाद इन्हें अंतिम रूप से लागू माना जाएगा.
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